श्रीगंगा भक्ति आश्रम का 44वां बार्षिकोत्सव 3 से 5 जून तक श्रद्धा भक्ति के साथ होगा शुरू

हरिद्वार। श्री गंगाभक्ति आश्रम के संस्थापक साकेतवासी श्रीस्वामी राघवानंद सरस्वती महाराज का स्मृति दिवस एवं श्रीगंगा भक्ति आश्रम का 44वां बार्षिकोत्सव 3 से 5 जून तक श्रद्धा भक्ति के साथ मनाया जाएगा। मां गंगा के अवतरण दिवस गंगा दशहरा के उपलक्ष में कई प्रांतों के संतों के सानिध्य में मां गंगा एवं लक्ष्मी नारायण का पूजन कर विश्व कल्याण की कामना की जाएगी।श्रीगंगा भक्ति आश्रम के परमाध्यक्ष स्वामी कमलेशानंद सरस्वती जी महाराज ने बताया कि मां गंगा सृष्टि की साक्षात् देवी हैं जो भक्तों के पाप एवं संतापों का शमन कर जीवन को सार्थकता प्रदान करती हैं और मां गंगा के अवतरण दिवस पर जो भी भक्त मां गंगा का दर्शन, आचमन और स्नान-दान करता है उसको समस्त प्रकार के कष्टों से मुक्ति मिल जाती है।गंगा दशहरा को हरिद्वार का सबसे पवित्र एवं महत्वपूर्ण स्नान बताते हुए स्वामी कमलेशानंद सरस्वती जी महाराज ने बताया कि अपने अवतरण दिवस पर मां गंगा साक्षात दैवीय स्वरूप में हरिद्वार में विद्यमान रहती हैं और गंगा जल अमृत तुल्य हो जाता है।पूज्य सद्गुरुदेव भगवान ने भगीरथ प्रयास कर मां गंगा की आराधना की तथा मां गंगा के आशीर्वाद स्वरुप ही श्री गंगाभक्ति आश्रम की स्थापना 1980 में गंगा दशहरा के पावन अवसर पर की। श्री गंगा भक्ति आश्रम के सभी ट्रस्टी, अनुयायी एवं भक्त मिलकर प्रत्येक गंगा दशहरा से गंगा भक्तों की सुविधा के लिए नए सेवा प्रकल्पों का शुभारंभ करते हैं। गंगा दशहरा एवं स्मृति दिवस के कार्यक्रमों की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि 3 जून को श्री रामचरितमानस के अखंड पाठ का शुभारंभ किया जाएगा तथा 4जून को पूर्णाहुति एवं भोग होगा। 5जून को गंगा दशहरा के पावन अवसर पर संत महापुरुषों के सानिध्य में मां गंगा एवं श्री लक्ष्मी नारायण का पूजन कर विश्व कल्याण की कामना की जाएगी तथा अवतरण दिवस का प्रसाद पाकर सभी भक्त अपने अंतःकरण को पवित्र करेंगे।इस अवसर पर देश के कोने-कोने से संत महापुरुष एवं गंगा भक्त हरिद्वार आकर मां गंगा का आशीर्वाद प्राप्त कर अपना जीवन धन्य करेंगे।