स्वामी सानंद की पुण्यतिथि पर सेमिनार आयोजित

 ’सनातन विज्ञान पर्यावरण समस्याओं का समाधान विषय पर हुआ विचार मंथन 


हरिद्वार। वैज्ञानिक संत स्वामी ज्ञान स्वरूप सानंद की छठवीं पुण्यतिथि पर मातृसदन में श्रद्धांजलि कार्यक्रम और नदी प्रवाह जीवन प्रवाह विषय पर सेमिनार आयोजित हुआ। मातृ सदन परमाध्यक्ष स्वामी शिवानंद सरस्वती ने स्वामी ज्ञानस्वरूप सानंद को पुष्पांजलि समर्पित की। स्वामी शिवानंद ने नदियों के अविरल प्रवाह और जल चक्र की निरंतरता पृथ्वी पर मानव जीवन के लिए कितनी महत्वपूर्ण है के बारे में बताया। स्वामी शिवानंद ने कहा कि आज भिन्न प्रकार के जलवायु आपदाओं से जूझ रही है पृथ्वी और मानवता के बचाव का रास्ता विज्ञान में ही आता है। विज्ञान सिद्धांत के अनुसार जल चक्र को अस्त व्यस्त करने से नदियों क ेजल प्रवाह को अवरोधित करने से पूरी पृथ्वी के वायुमंडल में गतिरोध आता है। यह स्पष्ट रूप से हमारे वेदों में लिखा है। इस विषय पर पिछले सप्ताह मातृ सदन द्वारा एक विस्तृत लेख और पत्र भी जारी किया गया है जिसे इंग्लिश, हिंदी और संस्कृत तीन भाषाओं में अनुवाद किया गया है। पीपुल्स साइंस इंस्टीट्यूट के संस्थापक वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉक्टर रवि चोपड़ा ने कहा कि साधन का प्रयोग तो करना ही है और जीवन के लिए जल का प्रयोग कम होता है। उन्होंने कहा कि खेती गलत प्रकार से करते ही तो पानी अधिक लागत है। जबकि पुरानी परम्परागत खेती में कम जल का प्रयोग किया जाथा था। कार्यक्रम में देश भर के पर्यावरणविद्धों ने स्वामी सानंद के बलिदान को याद करते हुए उनके सत्याग्रह और मांग को आगे बढ़ाया।