शांतिकुंज में उल्लास के साथ मनाया गया जन्माष्टमी पर्व


 हरिद्वार। गायत्री तीर्थ शांतिकुंज में श्रीकृष्ण का जन्मोत्सव उत्साहपूर्वक मनाया गया। गायत्री तीर्थ के मुख्य सत्संग हॉल में आयोजित समारोह में श्रीकृष्ण की भव्य झाँकी सजाई गयी, तो वहीं युगगायकों द्वारा प्रस्तुत यशोदा नंदन की विभिन्न लीलाओं का संगीतबद्ध गायन ने उपस्थित लोगों को भक्तिभाव से सराबोर कर दिया। अपने संदेश में वर्चुअल अखिल विश्व गायत्री परिवार प्रमुख डॉ.प्रणव पण्ड्या ने कहा कि भगवान् श्रीकृष्ण जन्म से ही बाधा-विपत्तियों की काली घटाओं का साहस के साथ सामना करते रहे। इस वर्ष द्वापर युग की भाँति हर्षण योग के साथ योगेश्वर श्रीकृष्ण की जन्माष्टमी का पर्व मनाने का सुखद संयोग है। ज्योतिष के अनुसार हर्षण योग को सर्वोत्तम योग माना गया है। संस्था की अधिष्ठात्री श्रद्धेया शैल दीदी ने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण ही थे, जिन्होंने अर्जुन को कायरता से वीरता,विषाद से प्रसाद की ओर जाने का दिव्य संदेश श्रीमदभगवदगीता के माध्यम से दिया। कार्यक्रम का संचालन श्यामबिहारी दुबे ने किया। उन्होंने श्रीकृष्ण को संस्कृति रक्षक के रूप में उल्लेख करते हुए बाधाओं को चिरते हुए आगे बढ़ते रहने के प्रेरित किया। इस अवसर पर शांतिकुंज के अंतेवासी कार्यकर्ता भाई बहिन सहित देश के विभिन्न राज्यों से आये नर नारी उपस्थित रहे।