बालिका संरक्षण के संकल्प व कन्या पूजन से ही नवरात्र के व्रत की सार्थकता
हरिद्वार। दुर्गा नवमी के अवसर पर जगजीतपुर स्थित सिद्धबली हनुमान, नर्मदेश्वर महादेव मंदिर के परमाध्यक्ष महंत आलोक गिरी महाराज ने हवन यज्ञ व कन्या पूजन कर नवरात्र व्रत का पारायण किया। इस अवसर पर श्रद्धालु भक्तों को संबोधित करते हुए महंत आलोक गिरी महाराज ने कहा कि बालिका संरक्षण के संकल्प व कन्या पूजन से ही नवरात्र के व्रत की सार्थकता है। सनातन हिन्दू धर्म में कन्याओं को देवी स्वरूपा मानकर उनकी पूजा की जाती है। नवरात्र में देवी दुर्गा के नौ स्वरूपों के प्रतीक के रूप में कन्याओं का पूजन कर उनका आशीर्वाद लिया जाता है। कन्याओं में देवी भगवती साक्षात रूप से विराजमान होती हैं। इसलिए प्रत्येक श्रद्धालु को कन्या पूजन कर ही नवरात्र व्रत का पारायण करना चाहिए। स्वामी आलोक गिरी महाराज ने कहा कि देवी दुर्गा की आराधना व पूजन के साथ सभी को बालिकाओं के संरक्षण, संवर्द्धन व उन्हें जीवन में आगे बढ़ने के लिए समान अवसर प्रदान करने का संकल्प भी अवश्य लेना चाहिए। साथ ही समाज में महिलाओं व कन्याओं के प्रति बढ़ रहे अपराध को समाप्त करने के लिए एक जिम्मेदार नागरिक की भूमिका का निर्वहन करना चाहिए। सभी को आदर्श समाज बनाने में सहयोग करना चाहिए। महंत नीरज गिरी दिगंबर ने कहा कि समस्त पापों का नाश कर सुख समृद्धि प्रदान करने वाली देवी भगवती की आराधना से सभी कष्ट दूर हो जाते हैं तथा प्रत्येक कार्य में सफलता प्राप्त होती है। इस अवसर पर उमेश भारती, दिगंबर मधुर वन, महंत केदार गिरी, जगमोहन, रमेश रावत, अरूण पाल, हन्नी समेत अनेक भक्तजन उपस्थित रहे।